भुवनेश्वर : केंद्रीय पेट्रोलियम एवं कौशल विकास मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने शनिवार शाम को राजधानी भुवनेश्वर में मुद्रा प्रोत्साहन अभियान का उद्घाटन करते हुए कहा कि ओडिशा को कौशल विकास एवं औद्योगिक विकास की प्रयोगशाला बनाया जाएगा। इसके लिए पहले चरण में प्रदेश के 10 हजार युवाओं को उद्यमी बनाने के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा।
केंद्रीय वित्त मंत्रालय के आर्थिक सेवा विभाग, राज्य सरकार एवं राज्य स्तरीय बैंकर्स कमेटी (एसएलबीसी) के संयुक्त सहयोग से आयोजित इस कार्यक्रम में प्रधान ने कहा कि राज्य में बैंकों द्वारा कर्ज देने की दर काफी कम है। उन्होंने कहा कि पूरे देश में 1.25 लाख बैंक हैं जबकि ओडिशा में मात्र पांच हजार बैंक हैं। ऐसे में राज्य स्तरीय बैंकर्स कमेटी ओडिशा सरकार के साथ चर्चा कर इस बात की पहचान करे कि किन- किन जिलों में कहां-कहां बैंक सेवा की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि ओडिशा में मुद्रा ऋण योजना के अंतर्गत इस वर्ष सितंबर महीने तक 66.20 लाख मुद्रा ऋण दिया गया है, जिसका परिमाण 18600 करोड़ रुपया है। केंद्रीय मंत्री ने साहूकार, दलाल आदि के शोषण से गरीब लोगों को बचाने के लिए बैंकों को कम ब्याज में छोटे-छोटे एवं नाममात्र तथा मध्यम उद्योगियों को कर्ज देने का बैंकों से आह्वान किया।
उन्होंने कहा कि देश के वर्तमान समय में राज्य में बैंकों ने अभी तक अपने निर्धारित लक्ष्य का मात्र 50 प्रतिशत ही कर्ज दिया है, जो कि पर्याप्त नहीं है। ऐसे में बैंक ओडि़आ युवा वर्ग को अधिक से अधिक कर्ज देकर राज्य के साथ देश के विकास में सहभागी बन सकते हैं। उन्होंने बैंक से जमाराशि का 75 प्रतिशत राशि कर्ज के आकार में खर्च करने एवं आगामी सितंबर माह तक युवा ओडि़आ उद्यमियों को 10 लाख से 1 करोड़ रुपये तक कर्ज मुहैया कराने का भी आह्वान किया। समारोह में राज्य के वित्त मंत्री शशि भूषण बेहेरा, सांसद पिनाकी मिश्र, भारतीय स्टेट बैंक के मुख्य महाप्रबंधक तरुण सिंह, वित्त विभाग के सचिव तुहीनकांत पाण्डे, खुर्दा के जिलाधीश, एवं भुवनेश्वर के विधायक आदि उपस्थित थे।
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