दिल्ली में बेघर बनेंगे हुनरमंद, रैन बसेरों में खोले जाएंगे ‘स्किल डेवलपमेंट सेंटर’

दिल्ली : बेघरोंको हुनरमंद बनाने की प्रकिया शुरू हो गई है। दिल्ली के रैन बसेरों में रहने वाले बेघरों को स्किल डेवलपमेंट सेंटर के जरिए ट्रेनिंग देकर रोजगार मुहैया कराया जाएगा। योजना को मूर्तरूप देने के लिए राजधानी के 10 रैन बसेरों में स्किल डेवलपमेंट सेंटर खोलने की तैयारी शुरू हो गई है।

केंद्र सरकार की नेशनल अर्बन लाइवलिहुड मिशन (एनयूएलएम) के अंतर्गत दिल्ली अर्बन शेल्टर इंप्रूवमेंट बोर्ड (डूसिब) इस महत्वाकांक्षी योजना को पूरा करेगा। दिल्ली सरकार ने तीन महीना पहले इस योजना को मंजूरी दे दी थी। योजना के तहत राजधानी के दस स्थानों गीता घाट, सराय काले खां, करोलबाग में रैगरपुरा, बस अड्डा के पास चाभीगंज, यमुना बाजार, नंद नगरी सहित 10 स्थानों पर चल रहे रैन बसेरों में स्किल डेवलपमेंट सेंटर खोलने के लिए एनजीओ का चयन कर लिया गया है। यहां पर बुनियादी सुविधाएं भी विकसित की जा रही हैं और इंफ्रास्ट्रक्चर का भी निर्माण किया जा रहा है।

दिल्ली सरकार ने 3 माह पहले इस योजना को दे दी थी मंजूरी

योजना के तहत दिल्ली के विभिन्न इलाकों नांगलोई, द्वारका, रोहिणी और गीता कॉलोनी में बहुमंजिला इमारत का निर्माण किया जाएगा। ये इमारतें ग्राउंड प्लस 4 मंजिला होंगी। इन इमारतों के निर्माण पर लगभग 41.24 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे। योजना के तहत पोर्टाकेबिन को भी बहुमंजिला इमारतों में तब्दील किया जाएगा। डूसिब के बोर्ड सदस्य बिपिन राय का कहना है कि इस योजना के जरिए बेघर लोग भी सम्मान और स्वच्छ पर्यावरण में जीवन जी सकेंगे। यहां पर बुजुर्गों और दिव्यांगों के लिए भी सुविधा प्रदान की जाएगी। अकेली महिला और बच्चों के लिए भी रैन बसेरों में विशेष सुविधा दी जाएगी।। इमारत में मल्टीपर्पज रूम होंगे। बेघर परिवार के लिए कमरे की डिजाइन अलग होगी। यहां स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग की भी सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी, ताकि बेघर लोगों को भी बेहतर रोजगार उपलब्ध कराने में मदद मिलेगी। ऐसा होने से इन्हें रैन बसेरों से खुद के मकान में शिफ्ट करने में मदद मिलेगी।

Note: News shared for public awareness with reference from the information provided at online news portals.