इलाहाबाद : उत्तर प्रदेश में जल्द ही कौशल विकास (स्किल डेवलपमेंट) से जुड़े चार नए विश्वविद्यालयों की स्थापना की जाएगी। इसकी रूपरेखा तैयार की जा रही है। इन विश्वविद्यालयों में कौशल विकास से जुड़े विभिन्न रोजगारपरक पाठ्यक्रम पढ़ाए जाएंगे। यह घोषणा प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री एवं उपमुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा ने रविवार को यहां नैनी हाईटेक सिटी में इलाहाबाद राज्य विश्वविद्यालय के अकादमिक भवन का भूमि पूजन करने के बाद की।
उन्होंने बताया कि शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार के लिए निजी विश्वविद्यालयों के लिए अलग से कानून बनाया जाएगा। इस पर काम चल रहा है। मंत्री ने बताया कि नया शैक्षणिक कैलेंडर भी तैयार कर लिया गया है। इस वर्ष से शीतकालीन अवकाश की अवधि घटाई जा रही है। शीतकालीन अवकाश 25 दिसंबर से एक जनवरी तक यानी आठ दिन का होगा। महापुरुषों के नाम पर छुट्टियां कम की जाएंगी लेकिन उनसे जुड़े विशेष अवसरों पर शिक्षण संस्थानों में कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। नवंबर के तीसरे सप्ताह तक सेमेस्टर की परीक्षाएं हो जाएंगी।
सेमेस्टर की फाइनल परीक्षाएं मई में समाप्त हो जाएंगी। सितंबर से नवंबर के बीच दीक्षांत समारोह होंगे। पांच जुलाई से विश्वविद्यालय और कॉलेज खुलेंगे और 10 जुलाई से कक्षाएं शुरू होंगी। 15 जुलाई से सेमेस्टर की कक्षाएं शुरू होंगी और 15 जनवरी से 15 फरवरी तक प्रयोगिक परीक्षाएं संपन्न करा ली जाएंगी। उन्होेंने इस बात पर संतोष जताया कि इलाहाबाद राज्य विश्वविद्यालय ने 15 जून तक सभी परीक्षाओं के परिणाम जारी कर दिए। इसके लिए उन्होंने कुलपति प्रो. राजेंद्र प्रसाद को बधाई भी दी।
मंत्री ने कहा कि दलित, पिछ़डों और आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों के लिए ‘केजी टू पीजी’ योजना लागू की जाएगी। इसके तहत केजी क्लास से लेकर परास्नातक तक की पढ़ाई बहुत सस्ती होगी और कोशिश होगी कि पूरी शिक्षा मुफ्त हो। इसके लिए कार्ययोजना तैयार की जा रही है।
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